अपने विचारों मैं उलझी
किन राहों मैं नहीं भटकी
खुद की तलाश में
वक्त को बिताती हूँ
पर जवाब नहीं पाती हूँ ....
लोगों से मिलती हूँ
ताल भी मिलाती हूँ
अजनबी होने से
थोडा खौफ खाती हूँ
पर खुद को बहुत दूर
बहुत दूर पाती हूँ ....
Friday, July 10, 2009
Subscribe to:
Post Comments (Atom)
Followers
Blog Archive
-
▼
2009
(35)
-
▼
July
(21)
- bas yu hi ...
- kshanika
- kshanika
- kshanika
- kshanika
- एक टूटन स्वप्न की है एक टूटन अहम् की सिर उठा कर चल...
- मन पंछी में प्राण फूक दे उड़कर जाना दुनिया पार , स...
- जिन दरख्तों की छाँव में पलता है जीवन , उन्ही दरख्त...
- kshanika
- kshanika
- a thought
- gazal
- भावना
- kshanika
- kshanika
- gazal
- kuchh panktiyan
- death
- daughters
- dreams
- a hollow voice
-
▼
July
(21)
About Me
- bhawana
- अपने विचारों मैं उलझी किन राहों मैं नहीं भटकी खुद की तलाश में वक्त को बिताती हूँ पर जवाब नहीं पाती हूँ .... लोगों से मिलती हूँ ताल भी मिलाती हूँ अजनबी होने से थोडा खौफ खाती हूँ पर खुद को बहुत दूर बहुत दूर पाती हूँ ....
1 comment:
yeh wali toh fantastic hain
Post a Comment